एक
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जब
कभी उदास होता हूँ
तुम्हे याद कर लेता हूँ
और - मन
गुदगुदी से भर जाता है
कभी उदास होता हूँ
तुम्हे याद कर लेता हूँ
और - मन
गुदगुदी से भर जाता है
दो
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जब कभी
उदास होता हूँ
सोचता हूँ
तुम्हे, और देखता हूँ खिड़की
दूर तक फ़ैली सन्नाटी सड़क को
बेवज़ह - देर तक
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जब कभी
उदास होता हूँ
सोचता हूँ
तुम्हे, और देखता हूँ खिड़की
दूर तक फ़ैली सन्नाटी सड़क को
बेवज़ह - देर तक
मुकेश इलाहाबादी -----------
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