एक बोर आदमी का रोजनामचा
Pages
Home
Monday, 23 April 2012
तल्खिये ज़िन्दगी के शिकार हैं हम
बैठे ठाले की तरंग --------------------
तल्खिये ज़िन्दगी के शिकार हैं हम
अजब अजब आदतों के बीमार हैं हम
हस्ती है अपनी ख़ाक भर की भी नहीं
फिर भी समझे की बरखुरदार हैं हम
मुकेश इलाहाबादी ---------------------
No comments:
Post a Comment
Newer Post
Older Post
Home
Subscribe to:
Post Comments (Atom)
No comments:
Post a Comment