एक बोर आदमी का रोजनामचा
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Thursday, 23 November 2017
तेरे बारे में सोचते सोचते
तेरे बारे में सोचते सोचते
फिर सो जाऊँगा रोते रोते
उठता नहीं बोझ फिर भी
चलूँगा तेरी यादें ढोते ढोते
मुकेश इलाहाबादी -------
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